Thursday, March 28, 2024
Hometrendingराजस्थान में एक और विश्वविद्यालय खोलने की तैयारी, इंजीनियरिंग में डिप्लोमा पाठ्यक्रम...

राजस्थान में एक और विश्वविद्यालय खोलने की तैयारी, इंजीनियरिंग में डिप्लोमा पाठ्यक्रम भी प्रस्तावित

Ad Ad Ad Ad Ad Ad Ad Ad Ad Ad Ad Ad Ad Ad Ad Ad

जयपुर (अभय इंडिया न्यूज) राज्य सरकार प्रदेश में पेट्रोलियम विश्वविद्यालय की स्थापना पर विचार कर रही है। साथ ही राजकीय पॉलिटेक्निक महाविद्यालय जोधपुर में पेट्रोलियम इंजीनियरिंग मे 3 वर्षीय डिप्लोमा पाठ्यक्रम प्रारंभ किया जाना भी प्रस्तावित है। यह जानकारी तकनीकी शिक्षा राज्य मंत्री डॉ. सुभाष गर्ग ने सोमवार को विधायक मदन प्रजापत के मूल प्रश्न के जवाब में विधानसभा में दी।

उन्होंने कहा कि इसके साथ ही उद्योगों की आवश्यकता के अनुसार नये पाठ्यक्रम प्रारंभ किये जाने के लिए भविष्य का प्लान तैयार किया जाना विचाराधीन है। शिक्षा को और अधिक रोजगारपरक बनाने के लिए सलेबस में उद्योगों की सलाह से परिवर्तन करवाया जायेगा। प्रदेश में रोजगारपरक शिक्षा को बढ़ाने के लिए जिला स्तर पर महिला पॉलिटेक्निक महाविद्यालय खोले जाएंगे।

डॉ. गर्ग ने बताया कि पॉलिटेक्निक महाविद्यालयों में उद्योगों की आवश्यकता के अनुसार पाठ्यक्रम यथा मेकेट्रोनिक्स, ऑटोमोबाइल (डिजायन) आदि प्रारंभ किये जायेंगे। इन सब के लिए कार्य योजना बनायी जाना विचाराधीन है। उन्होंने कहा कि तकनीकी शिक्षा विभाग के अधीन संचालित राजस्थान तकनीकी विश्वविद्यालय, कोटा द्वारा युवाओं को रोजगारपरक शिक्षा देने के लिए पाठ्यक्रमों में नियमित बदलाव किया जाता है। इसी क्रम में सत्र 2017-18 में विश्वविद्यालय द्वारा चॅाइस बेस्ड क्रेडिट सिस्टम लागू किया गया है। इससे छात्रों को राष्ट्रीय/अन्तरराष्ट्रीय संस्थानों में रोजगार के बेहतर अवसर प्राप्त होंगे, क्योंकि अधिकांश संस्थानों में अंकों के स्थान पर क्रेडिट पद्धति प्रचलित है। 

 उन्होंने कहा कि राष्ट्रीय स्तर के विभिन्न शिक्षण सस्थानों के साथ विश्वविद्यालय द्वारा एमओयू पर हस्ताक्षर किये गए हैं, जिसके परिणाम स्वरूप गत वषों में छात्रों द्वारा 13 स्टार्टअप प्रारभ किये गये हैं। इसके अतिरिक्त विश्वविद्यालय द्वारा प्रशिक्षण, रोजगार के लिए विशेष सैल गठित है जिसके माध्यम से गत 3 वर्षों में 180 प्रशिक्षण कार्यक्रमों का आयोजन किया गया है। 100 छात्रों को सॉलिड वक्र्स एण्ड प्रो. की ट्रेनिंग दी गई है, 600 छात्रों को ऑटो कैड की सॉफ्टवेयर की ट्रेनिंग दी गई है। इन कार्यक्रमों को निरन्तर जारी रखने के लिए वर्ष 2018-19 के बजट में विश्वविद्यालय द्वारा एक करोड़ रुपये का वित्तीय प्रावधान किया गया है।

उन्होंने बताया कि तकनीकी शिक्षा निदेशालय, जोधपुर द्वारा प्रदेश में युवाओं को रोजगारपरक शिक्षा के लिए 19 इंजीनियरिंग शाखाओं तथा 06 नॉन इंजीनियरिंग शाखाओं में डिप्लोमा प्रदान किया जा रहा है। राजकीय पॉलिटेक्निक महाविद्यालय जोधपुर में पेट्रोलियम इंजीनियरिंग मे 3 वर्षीय डिप्लोमा पाठ्यक्रम प्रारंभ किया जाना प्रस्तावित है। इसके अतिरिक्त सामुदायिक पॉलिटेक्निक योजना के अन्तर्गत युवाओं के लिए 3/6 माह के लघु अवधि प्रशिक्षण आयोजित किये जाते हैं जिन्हें सफलतापूर्वक पूर्ण कर युवा स्वयं का रोजगार प्रारंभ कर सकते हैं। वर्ष 2017-18 में सामुदायिक पॉलिटेक्निक योजना के अन्तर्गत 2011 युवाओं को प्रशिक्षण दिया गया।

तकनीकी शिक्षा मंत्री ने कहा कि प्रदेश में युवाओं को रोजगारपरक शिक्षा हेतु विभिन्न राजकीय एवं प्राइवेट औद्योगिक प्रशिक्षण संस्थानों (आरटीआई) के माध्यम से प्रशिक्षित किया जा रहा है। इनमें इंजीनियरिंग एवं गैर इंजीनियरिंग सेक्टर के विभिन्न व्यवसायों में प्रशिक्षण प्रदान किया जा रहा है। वर्तमान में राज्य में संचालित 229 राजकीय आईटीआई में 47202 प्रवेश स्थान तथा 1710 प्राइवेट आईटीआई में 312404 प्रवेश स्थान उपलब्ध कराये गये हैं।

उन्होंने बताया कि माध्यमिक विद्यालयों में अध्ययनरत विद्यार्थियों को आत्मनिर्भर बनाने, शिक्षा में ड्रॉपआउट रेट कम करने एवं कौशल विकास की क्षमता विकसित करने के उद्देश्य से वोकेशनलाइजेशन ऑफ सेकण्डरी एण्ड हायर सेकण्डरी एजुकेशन योजनान्तर्गत वित्तीय वर्ष 2014-15 से 11 जिलों के 70 विद्यालयों में व्यवसायिक शिक्षा प्रारंभ की गई है।

उक्त योजना में प्रत्येक विद्यालय में 02 विद्यालयों का संचालन किया जाता है। वर्तमान में राज्य में 905 विद्यालयों में 12 व्यवसायों में लगभग 1 लाख 20 हजार विद्यार्थी लाभान्वित हो रहे है। राज्य के कृषि विश्वविद्यालयों में युवाओं को रोजगारपरक शिक्षा देने के लिए कृषि शिक्षा के अलावा श्री कर्ण नरेन्द्र कृषि विश्वविद्यालय में वर्ष 2016-17 में कृषि  व्यवसाय प्रबन्धन महाविद्यालय, जोबनेर में आरंभ किया गया है। इस महाविद्यालय में कृषि स्नातक कृषि प्रबन्ध पाठ्यक्रम चलाया जा रहा है, जिसमें वर्तमान में 168 छात्र अध्ययनरत हैं। स्वामी केशवानन्द राजस्थान कृषि विश्वविद्यालय बीकानेर में वर्ष 2000 से कृषि व्यवसाय प्रबन्धन संस्थान में स्नात्कोत्तर विधावाचस्पति स्तर का पाठ्यक्रम संचालित किया जा रहा है जिसमें 96 छात्र अध्ययनरत हैं। उक्त पाठ्यक्रमों का मुख्य उद्देश्य रोजगारपरक शिक्षा कौशल विकास है।

गर्ग ने कहा कि आरएसएलडीसी द्वारा राज्य के शिक्षित युवाओं को रोजगारपरक प्रशिक्षण प्रदान किया जा रहा है। उन्होंने बताया कि देश बेरोजगारी को मिटाने के लिए युवाओं को उद्योगों की मांग के अनुसार विभिन्न प्रतिष्ठानों यथा सिस्कों, बॉश, केटरपिलर, सैमसंग टोयेटा, एलएण्डटी, पिडिलाइट, श्नाइडर इत्यादि के सहयोग से आईटीआई में प्रशिक्षण भी प्रदान किया जा रहा है। उन्होंने  विगत चार वर्षों में प्रत्येक वित्तीय वर्ष एवं चालू वित्तीय वर्ष में आवंटित, व्यय एवं लक्ष्यों का विवरण सदन के पटल पर रखा।

रिफाइनरी के लिए तकनीकी प्रशिक्षण के लिए जोधपुर विश्वविद्यालय के अधीन महाविद्यालय पीबीएम में तीन वर्षीय तकनीकी पाठ्यक्रम प्रारम्भ करने एवं विभाग के स्तर पर अलग से पेट्रोलियम विश्वविद्यालय प्रारम्भ करने की दिशा में विचार किया जा रहा है।

शिक्षा विभाग में रिक्त पद भरने को लेकर मंत्री ने दिए ये संकेत…

कोतवाली मालखाने से उड़ा ले गए डोडा-पोस्त, तीन कर्मचारी सस्पेंड

राजस्थान में मौसम का पलटवार : इन 16 जिलों में शीतलहर की चेतावनी, 3 में हुई बारिश

Ad Ad Ad Ad Ad Ad Ad Ad Ad Ad Ad
Ad
- Advertisment -

Most Popular