बीकानेर (अभय इंडिया न्यूज)। मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे के आदेश की पालना में यहां सूरसागर में चल रहे कार्य के दौरान हुए हादसे में दलित मजदूर की मौत के मामले ने जबरदस्त सियासी तूल पकड़ लिया है। शनिवार को ुहुई इस घटना को लेकर राजनैतिक पार्टियों के नेताओं ने की बयानबाजी शुरू हो गई। कांग्रेस नेता एवं पूर्व मंत्री डॉ. बी. डी. कल्ला ने इस हादसे के लिये शासन-प्रशासन को जिम्मेदार ठहराते हुए कहा कि सुरक्षा के पूरे इंतज़ाम होते तो यह दुर्घटना नही होती। मौके प्रशासन की बदइंतज़ामी से एक परिवार का चिराग बुझ गया। उन्होने मृतक मजदूर के परिवार को 25 लाख रुपये का मुआवजा और परिवार के एक सदस्य को नौकरी देने तथा घटना की न्यायिक जांच कराने की मांग की है।
वहीं बसपा के बीकानेर पश्चिम क्षेत्र प्रभारी नारायण हरि लेघा एवं जिलाध्यक्ष अत्ताउल्ला खां ने हादसे में मजदूर लाधूराम ओड़ की अकाल मौत पर गहरी संवेदना व्यक्त करते हुए कहा कि नगर विकास न्यास के लिये सफेद हाथी बन चुके सूरसागर को निखारकर मुख्यमंत्री को खुश करने के लिये अंधाधुंध चल रहे कार्य में सुरक्षा बंदोबस्तों की पूरी तरह अनदेखी की जा रही है। इस वजह से दलित मजदूर को अपनी जान गंवानी पड़ी। दोनों बसपा नेताओं ने कहा कि मृतक मजदूर के आश्रितों को पर्याप्त मुआवजा मिलना चाहिए तथा हादसे के लिये जिम्मेदार अधिकारियों के खिलाफ केस दर्ज किया जाना चाहिए तथा उच्च स्तर पर जांच कार्यवाही होनी चाहिए।
यूथ कांग्रेस के जिलाध्यक्ष बिशनाराम सिहाग ने सूरसागर तालाब पर चलते कार्य के दौरान एक युवक की मौत पर अफसोस जताते हुए इसके प्रशासन और सरकार को जिम्मेदार ठहराया। बिशनाराम सिहाग ने विज्ञप्ति जारी कर कहा है कि ये बात सभी जानते हैं कि प्रदेश की मुख्यमंत्री वसुन्धरा राजे को खुश करने के लिए प्रशासन और नगर विकास न्यास शहर भर की समस्याओं को छोड़ कर सिर्फ सूरसागर को तैयार करने में लगे हुए हैं। इस कार्य में जरा भी सावधानी बरती जाती तो युवक लादूराम भाट को अपनी जान से हाथ नहीं धोना पड़ता। इस हादसे को लेकर यूथ कांग्रेस के कार्यकारी अध्यक्ष धनपत चायल, मनोज सहारण, जिला प्रमुख प्रतिनिधि श्रीकृष्ण सींवर ने भी शोक जताया है।