मुकेश पूनिया/बीकानेर (अभय इंडिया न्यूज)। इस चुनावी साल में जिले में राजनीति का बुखार तेज होने वाला है। दो दिनों से भले ही आसमान से अमृत बरसने से थोड़ा सुकून है, पर सियासी गर्मी भी कम नहीं है। प्रदेश विधानसभा चुनाव में कांग्रेस टिकट वितरण के लिए बनाई गई स्क्रीनिंग कमेटी ने सोमवार को जयपुर में पार्टी के चुनावी दावेदारों का जमीनी फीडबैक लिया। कमेटी के सामने बीकानेर जिले की सात विधानसभा सीटों से डेढ़ दर्जन टिकटार्थियों की दावेदारी सामने आई है।
स्क्रीनिंग कमेटी की चेयरमैन कुमारी शैलजा एवं पूर्व मुख्यमंत्री अशोक गहलोत समेत कमेटी सदस्यों के समक्ष टिकट के लिये दावेदारी पेश करने पहुंचे टिकार्थियेां में पूर्व मंत्री डॉ. बी. डी. कल्ला, पूर्व गृह राज्यमंत्री वीरेन्द्र बेनीवाल समेत बीकानेर के अनेक कांग्रेसी दिग्गज शामिल थे। पार्टी से जुड़े सूत्रों ने बताया कि सबसे ज्यादा दावेदारी बीकानेर पूर्व विधानसभा सीट के लिए सामने आई है। इस सीट के लिये कमेटी के समक्ष आधा दर्जन से ज्यादा दावेदारों के नाम सामने आए हैं। इनमें कांग्रेस नेता गोपाल गहलोत, देहात कांग्रेस अध्यक्ष कौशल दुग्गड़, पूर्व ब्लाक अध्यक्ष सी. पी. गहलोत, बाबू जयशंकर जोशी, सुनीता गौड़ प्रमुख है।
इसके अलावा बीकानेर पश्चिम विधानसभा सीट से पार्टी टिकट के लिए पूर्व मंत्री डॉ. बी. डी. कल्ला और प्रदेश कांग्रेस सचिव राजकुमार किराडू के नाम प्रमुखता से शामिल रहे। श्रीडूंगरगढ़ से पूर्व विधायक मंगलाराम गोदारा और हरिराम बाना की दावेदारी सामने आई। लूनकरणसर विधानसभा सीट से पूर्व गृह राज्यमंत्री वीरेन्द्र बेनीवाल, जिला प्रमुख सुशीला सींवर, राजेन्द्र मंूड की दावेदारी सुर्खियों में रही। खाजूवाला सीट से चार-पांच टिकटार्थियों की ओर से दावेदारी पेश की गई इनमें पूर्व संसदीय सचिव गोविन्दराम मेघवाल, किशनलाल इणखियां, सुषमा बारूपाल और मिठूसिंह के नाम प्रमुखता से शामिल रहे।
कोलायत विधानसभा सीट से निर्वतमान विधायक भंवरसिंह भाटी के अलावा यूथ कांग्रेस नेता तोलाराम सियाग का नाम भी सामने आया है। इसी तरह नोखा विधानसभ सीट से नेता प्रतिपक्ष रामेश्वर डूडी के अलावा किसी दूसरे टिकटार्थियों के नाम पर चर्चा नहीं हुई। गौरतलब है कि स्क्रीनिंग कमेटी की घोषणा के बाद कमेटी का सोमवार को प्रदेश में पहला दौरा था। कमेटी के अभी कई दौरे और होने हैं।
जातिगत समीकरणों पर रहा फोकस
टिकटार्थियों का फीडबैक लेने के लिये हुई प्रदेश कांग्रेस स्क्रीनिंग कमेटी इस मीटिंग में जातिगत समीकरणों पर सीधा फोकस रहा। इसके अलावा पिछले विधानसभा चुनाव में हार और इस बार जीत का क्या फॉर्मूला रहेगा? जैसे सवालों पर भी टिकटार्थियों से पूछे गये। टिकटार्थियों से खुद के अलावा क्षेत्र में दूसरे सक्रिय दूसरे नेताओं के बारे में भी फीड बैक लिया कि अगर उनको टिकट दिया गया तो उनकी जीत का आधार क्या होगा। स्क्रीनिंग कमेटी के सदस्यों के पास प्रदेश की सभी 200 सीटों के आंकड़े भी नजर दिखे।