





बीकानेर Abhayindia.com त्रिभुवन सहकारी विश्वविद्यालय विधेयक, 2025 के उपलक्ष्य में कृभको द्वारा आज बीकानेर कोलायत क्रय विक्रय सहकारी समिति लिमिटेड पर किसान सभा का आयोजन करवाया गया। जिसमें मुख्य अतिथि हरिराम सिहाग (चेयरमैन), मनोज मूँड (डायरेक्टर प्रतिनिधि) थे।
सभा में सीनियर मैनेजर जेएस शेखावत ने किसानों को त्रिभुवन सहकारी विश्वविद्यालय विधेयक, 2025 के पारित होने के बारे में जानकारी देते हुए बताया कि यह विश्वविद्यालय गुजरात के आनंद स्थित इंस्टीट्यूट ऑफ रूरल मैनेजमेंट (IRMA) को भारत के पहले राष्ट्रीय सहकारी विश्वविद्यालय के रूप में स्थापित करता है। यह विश्वविद्यालय सहकारी वित्त, ग्रामीण ऋण, विपणन, डेयरी, मत्स्य और सहकारी कानून जैसे प्रमुख क्षेत्रों में शिक्षा, प्रशिक्षण और अनुसंधान प्रदान करेगा
देशभर में क्षेत्र-विशेष स्कूलों और संबद्ध संस्थानों के माध्यम से यह डिग्री, डिप्लोमा और प्रमाणपत्र पाठ्यक्रम प्रदान करेगा, जिससे सहकारी क्षेत्र के लिए कुशल पेशेवरों का एक मजबूत आधार तैयार होगा। SWAYAM और Samarth eGov Suite जैसे डिजिटल प्लेटफार्मों के माध्यम से यह विश्वविद्यालय शिक्षण को सुगम बनाएगा और बेहतर प्रशासन सुनिश्चित करेगा।
इस विधेयक को आज संसद में गृह एवं सहकारिता मंत्री अमित शाह द्वारा प्रस्तुत किया गया। सदन को संबोधित करते हुएशाह ने कहा कि त्रिभुवन सहकारी विश्वविद्यालय, सहकारिता क्षेत्र के लिए 75 वर्षों में देश का पहला समर्पित सहकारी विश्वविद्यालय बनेगा जिससे ग्रामीण अर्थव्यवस्था सशक्त होगी, स्वरोजगार और लघु उद्यमिता का विकास होगा, सामाजिक समावेशन बढ़ेगा और नवाचार व अनुसंधान में भी कई नए मानक स्थापित किए जाएंगे।
कृषक भारती कोऑपरेटिव लिमिटेड (KRIBHCO), एक राष्ट्रीय स्तर की प्रमुख सहकारी संस्था, त्रिभुवन सहकारी विश्वविद्यालय की स्थापना के इस ऐतिहासिक निर्णय पर गर्व महसूस करती है। क्षेत्रीय प्रतिनिधि संदीप बेनीवाल के द्वारा कार्यक्रम में आए अतिथियों एवं किसानों का धन्यवाद ज्ञापित किया गया।





