जयपुर Abhayindia.com राजस्थान में अगले साल होने वाले विधानसभा चुनाव को देखते हुए कांग्रेस और भाजपा दोनों ही दल एक्टिव मोड पर है। इस बीच, उत्तरप्रदेश के विधानसभा चुनाव के बाद अब राष्ट्रीय लोकदल के अध्यक्ष चौधरी जयंत सिंह राजस्थान में तीसरी ताकत बनने के लिए राजनीतिक जमीन तलाश रहे हैं।
आपको बता दें कि चौधरी अजीत सिंह के पुत्र और किसान नेता पूर्व पीएम चरण सिंह के पोते जयंत सिंह को राजनीति विरासत में मिली है। उत्तरप्रदेश में उन्होंने सपा के साथ गठबंधन में चुनाव लड़ा था, हालांकि वो सत्ता से काफी दूर रह गए। अब वे राजस्थान के मुद्दों को उठाकर जनता को अपनी ओर खींचने में लग गए है।
इस बीच, जयंत सिंह ने प्रधानमंत्री को भेजी चिट्ठी में लिखा है कि 40 हजार करोड़ रुपए अनुमानित लागत वाली पूर्वी राजस्थान नहर परियोजना को कांग्रेस की सरकार वहन नहीं कर पा रही है, इसलिए प्रोजेक्ट को नेशनल प्रोजेक्ट घोषित कर जल्द पूरा कराए।
जयंत सिंह ने उन्हें याद दिलाया कि 2017-18 के बजट भाषण में गत भाजपा सरकार में सीएम वसुंधरा राजे ने घोषणा की थी कि उनकी सरकार पूर्वी राजस्थान नहर परियोजना को राष्ट्रीय परियोजना का दर्जा दिए जाने का प्रस्ताव केंद्र सरकार को भेज चुकी है। चौधऱी का कहना है कि यह प्रोजेक्ट राजस्थान में सिंचाई, पेयजल की समस्या को दूर करने में महत्वपूर्ण है। राज्य का 23.67 प्रतिशत क्षेत्र और 41.13 प्रतिशत जनसंख्या इस प्रोजेक्ट से लाभान्वित होगी।
आपको यह भी बता दें कि प्रदेश की गहलोत सरकार में मंत्री सुभाष गर्ग भरतपुर शहर से रालोद के टिकट पर चुने गए थे। वे इस दल के एकमात्र विधायक है। अब रालोद अपनी राजनीतिक जमीन बढाना चाह रहा है।
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