Thursday, January 16, 2025
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बीकानेर नगर निगम में महापौर के निर्देशों की नहीं हो रही पालना

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बीकानेर abhayindia.com बीकानेर न‍गर निगम की महापौर सुशीला कंवर राजपुरोहित की ओर से दिए जाने वाले निर्देशों की लगातार हो रही अवहेलना के चलते अब निगम प्रशासन पर सवाल उठने शुरू हो गए है। आपको बता दें कि महापौर सुशीला कंवर ने कार्यभार संभालने के बाद गंदे पानी की सब्जियों को हटाने के लिए निगम प्रशासन को निर्देश दिए थे, लेकिन उसकी पालना अब तक नहीं की गई है। जबकि जहां पर गंदे पानी की सब्जियां उगी हुई थी वहां वे खुद निगम आयुक्‍त और भाजपा नेता गुमान सिंह राजपुरोहित के अलावा मीडिया को भी मौके पर साथ लेकर गई थी।

इसी तरह महापौर ने निगम अधिकारियों को अवैध निर्माण, अतिक्रमण अवैध होर्डिंग को तुरंत प्राथमिकता से हटाने के निर्देश दे चुकी है। इसके बावजूद भी अवैध निर्माणों के चलन पर अंकुश नहीं लग रहा है। सुशीला कंवर ने पिछले दिनों अधिकारियों को स्पष्ट शब्दों में निर्देश दिए हैं कि अतिक्रमण करने वाले चाहे कितने भी प्रभावशाली क्यों न हो बिना किसी राजनीतिक दबाव के हर सूरत में कार्रवाई की जाए।

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आपको बता दें कि शहर में लोग भवन निर्माण के नियमों को ताक में रखकर धड़ल्ले से अवैध निर्माण कर रहे हैं। मकान मालिक बिना शेड बैक छोड़े, बिना निर्माण स्वीकृति के बहुमंजिला इमारतें खड़ी करते जा रहे है। निर्माण स्वीकृति की फाइलें लालफीताशाही की टेबलों पर पड़ी है और मौके पर इमारतें खड़ी कर दी हैं। निर्माण में ऐसा खेल चल रहा कि जी-प्लस की स्वीकृति लेकर किसी ने पांच मंजिल तो किसी ने छह मंजिल खड़ी कर ली है। किसी आवासीय नक्शा पास करवाकर व्यावसायिक भवन बना दिया है।

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ध्‍यान में रहे कि अवैध निर्माण पर ज्यादा हल्ला मचता है तो नगर निगम के अधिकारी अपनी खाल बचाने के लिए नोटिस देकर खानापूर्ति कर लेते हैं। नोटिस के बावजूद बिना अनुमति के मंजिल दर मंजिल खड़ी हो जाती है। भवन निर्माताओं के प्रभाव में अधिकारी कोई कार्रवाई तक नहीं करते हैं। इस कारण अधिकारियों की भूमिका पर भी सवाल खड़े हो रहे हैं। नगर निगम के पार्षद भी आये दिन अवैध निर्माणों के खिलाफ कार्यवाही शिकायतें लिये घूमते रहते है लेकिन नगर निगम अधिकारी उनकी भी सुनवाई नहीं करते।

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जानकारी के अनुसार अवैध निर्माणों के कारण नगर निगम को सालाना ढाई तीन करोड़ के राजस्व का नुकसान उठान पड़ रहा है। इसके बावजूद भी शासन प्रशासन के जिम्मेदार अधिकारी अवैध निर्माणों की रोकथाम के लिये प्रभावी कदम उठाने में नाकाम बने हुए है। मोटे तौर पर शहर में करीब 70 से अधिक बहुमंजिला इमारतों व व्यावसायिक प्रतिष्ठानों व अन्य इमारतों का काम चल रहा है। पिछले दो माह में बिना अनुमति के अवैध निर्माण की दो दर्जन से अधिक शिकायतें निगम में पहुंच चुकी है। एक दर्जन मामलों में तो निगम में केवल नोटिस देकर खानापूर्ति कर ली है।

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