बीकानेर abhayindia.com लोकसभा चुनाव के लिए परिवहन विभाग द्वारा अधिग्रहित वाहन उपलब्ध नहीं कराने वाले वाहन संचालकों के विरुद्ध राजकार्य में बाधा डालने व लोक प्रतिनिधित्व अधिनियम में मुकदमा दर्ज होने के बाद जेल की हवा खानी पड़ सकती है। इसके लिए जिला निर्वाचन विभाग ने वाहन संचालकों को चेतावनी जारी की है कि वे चुनाव के लिए अधिग्रहित वाहन उपलब्ध करवाए, जिसमें पेट्रोल-डीजल के अलावा किराया उपलब्ध कराया जाएगा। कोई भी व्यक्ति अपने निजी या व्यवसायिक वाहन को चुनाव कार्य में लगाने के लिए परिवहन विभाग के दस्ते से संपर्क कर सकता है।
जानकारी के अनुसार 11 अप्रेल 19 को लोकसभा चुनाव की आचार संहिता लागू होने के साथ ही निर्वाचन कार्य शुरू हो गया। इसके तहत सतर्कता दलों, ईवीएम तैयारी, प्रशिक्षण, निगरानी दलों व पुलिस फोर्स और मतदान दलों के लिये परिवहन विभाग ने 750 के करीब वाहन अधिग्रहित कर लिये है। इनमें बसों के अलावा बोलेरों,कैम्पर,कारें और लोडिंग वाहन भी शामिल है। लोकसभा चुनाव के लिए अधिग्रहित वाहन उपलब्ध करवाने के लिए वाहन मालिकों और चालकों को सूचित कर दिया गया है, इसमें किसी भी तरह की कोताही बर्दाश्त नहीं होगी। वाहन उपलब्ध नहीं कराने पर राजकार्य में बाधा डालने व लोक प्रतिनिधित्व अधिनियम में एफआईआर दर्ज कराने के स्पष्ट प्रावधान है। मुकदमा दर्ज होने के बाद एक वर्ष तक का कारावास हो सकता है।
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