






बीकानेर Abhayindia.com प्रदेश की ऐतिहासिक धरोहरों, परम्पराओं का संरक्षण करते हुए देश और दुनिया के पर्यटकों को इनसे रूबरू करवाना राज्य सरकार की प्राथमिकता है। इसके मद्देनजर मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा के नेतृत्व में पर्यटन विकास को लेकर ऐतिहासिक कार्य किए जा रहे हैं। ‘अतिथि देवो भव:’ की परंपरा को साकार करने के मद्देनजर वित्तीय वर्ष 2025-26 के बजट में पर्यटन स्थल विकसित करने के लिए अनेक घोषणाएं की गई हैं। इसी श्रृंखला में बीकानेर जिले के लिए प्रमुख पर्यटन स्थलों पर सौंदर्यीकरण, जीर्णोद्धार व अन्य कार्यों के लिए महत्वपूर्ण घोषणाएं की गई। इसमें बीकानेर सहित अन्य 22 जिलों के उच्च शहरीकृत शहरों एवं उनके 42 सैटलाइट टाउन में पर्यटन, हेरिटेज, कमांड कंट्रोल सेंटर व बाढ़ प्रबंधन संबंधित कार्य किए जाने प्रस्तावित हैं।
नाइट टूरिज्म को बढ़ावा देने के लिए बीकानेर सहित 5 जिलों के प्रमुख पर्यटन स्थलों एवं हेरिटेज स्मारकों पर आवश्यक आधारभूत संरचना के उन्नयन के साथ विभिन्न गतिविधियों का आयोजन 100 करोड़ रुपए की लागत से करवाया जाएगा। प्रदेश में डेजर्ट एडवेंचर टूरिज्म की दृष्टि से बीकानेर में पीपीपी मोड पर कार्य करवाए जाएंगे।
इसी प्रकार हॉस्पिटैलिटी के क्षेत्र में प्रदेश के युवाओं को आवश्यक स्किल अपग्रेडेशन की सुविधा उपलब्ध कराने के लिए संभाग स्तर पर हॉस्पिटैलिटी स्किल सेंटर्स 35 करोड़ रुपए की लागत से स्थापित की जाएंगे। सूरसागर झील में सौंदर्यीकरण, जीर्णोद्धार व अन्य विकास के कार्य करवाए जाएंगे। प्रदेश के विभिन्न मंदिरों सहित बीकानेर के लक्ष्मीनाथ मंदिर, मुरलीमनोहर मंदिर, हनुमान मंदिर व शीतला माता मंदिर जैसे धार्मिक स्थलों के जीर्णोद्धार व विकास कार्यों पर 57 करोड़ रुपए व्यय किए जाएंगे। राज्य सरकार द्वारा पर्यटन स्थलों को सुविधाजनक बनाने तथा बेहतर इंफ्रास्ट्रक्चर विकसित के उद्देश्य से ऐतिहासिक कार्य किए जा रहे हैं।





