जयपुर (अभय इंडिया न्यूज)। आगामी 23 मार्च को राजस्थान में होने जा रहे राज्यसभा की तीन सीटों के चुनाव में इस बार कांग्रेस को प्रतिनिधित्व का मौका मिलना मुश्किल ही है। इसमें साफतौर पर भारतीय जनता पार्टी का का पलड़ा भारी रहने की संभावना नजर आ रही है। राजस्थान विधानसभा में भाजपा के बहुमत को देखते हुए तीनों सीटों पर जीत लगभग पक्की मानी जा रही है।
राजनीतिक विश्लेषकों के अनुसार प्रदेश में ऐसा पहला यह अवसर होगा जब राज्यसभा में कांग्रेस का कोई सदस्य नहीं होगा। चुनाव के बाद संभवत: भाजपा का प्रदेश की सभी दस सीटों पर कब्जा हो जाएगा। राज्यसभा की सीटों के लिए प्रदेश के 199 विधायक मतदान करेंगे, भाजपा विधायक कल्याण सिंह के हाल में हुए निधन से एक मत कम हो गया है। कुल मतों में से भाजपा विधायकों की संख्या 159 है, जबकि कांग्रेस के 25 विधायक है। इसके अलावा बसपा के दो, राजपा के चार तथा शेष नौ निर्दलीय विधायक मतदान करेंगे। लोकसभा की प्रदेश की सभी 25 सीटों पर भाजपा का कब्जा है। इसे देखते हुए भी राज्यसभा की तीनों सीटों पर भाजपा की जीत पक्की मानी जा रही है। वर्तमान समीकरणों के देखते हुए यह कयास लगाए जा रहे हैं कि कांग्रेस राज्यसभा में कोई उम्मीदवार नहीं उतारेगी।
उधर, भाजपा के राष्ट्रीय महासचिव भूपेन्द्र यादव एक बार फिर राज्यसभा में जा सकते हैं। शेष दो सीटों में से एक सीट पर मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे अपने वफादार एवं भाजपा प्रदेशाध्यक्ष अशोक परनामी अथवा विधानसभा अध्यक्ष कैलाश मेघवाल में से किसी एक को राज्यसभा में भेज सकती है। एक अन्य सीट पार्टी के केन्द्रीय नेतृत्व के जिम्मे रहेगी।