बीकानेर Abhayindia.com अकाल की आहट के बीच में जिले में बीते दिनों हुई बारिश ने एक बारगी फसलों में प्राण फूंक दिए है। खासकर सिंचित फसलों को इस बारिश ने नया जीवनदान दिया है। आसमान से बरसे अमृत से किसानों के चेहरे भी खिल उठे हैं, आगे और बारिश की उम्मीद भी जाग उठी है। कृषि जानकारों की माने तो नरमा, कपास व मूंगफली की फसलें सिंचित पानी पर आधारित है। फिलहाल यह जलकर खतम होने की कगार पर थी, तीन सितंबर को हुई बारिश से इनमें नई जान आ गई है।
मिला है जीवन…
बीते दिन हुई एक बारिश से ही कपास, नरमा और मूंगफली की फसल को सबसे ज्यादा फायदा हुआ है, हलांकि यह बारिश तो फसलों के लिए वरदान ही रही है। इससे काश्तकारों को भी एक बारगी राहत मिली है। रामकिशोर मेहरा, सहायक निदेशक, कृषि विस्तार केन्द्र, बीकानेर
कहां कितनी एमएम बारिश…
बीकानेर प्रथम- 30-40
नोखा- 20-30
महाजन- 30-40
शेखसर- 30-40
श्रीडूंगरगढ़- 20-30
आडसर- 30-40
धर्माश- 20-30
नापासर- 20-30
लूणकनसर- 10-30
देशनोक- 20-30
छत्तरगढ़- 20 एमएम
पूगल- 10 एमएम
कोलायत- 10-14
उपनी- 12-16
कुचौर- 08-10
हदां- 08-10
हंसेरा- 04-10
कालू- 10-30
पांचू- 10-30
कक्कू- 10-35
सिंजगुरु- 10-20
जसरासर- 06-08
थावरिया- 10-12
बीकानेर द्वितीय 04-08
दियातरा- 04-10
465-आरडी- 04-08