







खेल डेस्क। भारत और इंग्लैंड (India vs England) के बीच चार टेस्ट मैचों की सीरीज का पहला चेन्नई के एमए चिदंबरम स्टेडियम (MA Chidambaram stadium) में 5 फरवरी से खेला जाएगा। चेपक स्टेडियम में पांच पिचें तैयार की गई हैं। भारतीय टीम प्रबंधन मुकाबले से पहले इन पिचों में से एक का चयन करेगी। सभी की निगाहें इस बात पर टिकी है कि पिच का व्यवहार कैसा होगा?
आपको बता दें कि चेन्नई की पिच पर आखिरी टेस्ट मुकाबला भी भारत और इंग्लैंड के बीच खेला गया था। 2016 में हुए इस मैच में भारत ने करुण नायर के तिहरे शतक की बदौलत 7 विकेट खोकर 759 रनों का स्कोर बनाया था। नायर (नाबाद 303) के अलावा केएल राहुल ने 199 रनों की पारी खेली थी। इस टेस्ट में 1443 रन बने थे और सिर्फ 27 विकेट ही गिरे। भारत ने यह मैच पारी और 75 रनों से जीता था।
इससे पहले इस स्टेडियम में भारत ने इंग्लैंड के खिलाफ चौथी पारी में 387 रनों के लक्ष्य का सफलतापूर्वक किया था। सचिन तेंदुलकर के शतक की बदौलत भारत ने यह टेस्ट 6 विकेट से जीता था। इस पिच पर टेस्ट सीरीज के पहले दो मुकाबले खेले जाएंगे। एक बार फिर से पिच के बल्लेबाजी के अनूकूल और धीमा होने की संभावना जताई जा रही है।
सभी जानते हैं कि ऑस्ट्रेलिया की पिचें उछाल भरी, सपाट और बल्लेबाजी के लिए अच्छी थीं, लेकिन चेन्नई का विकेट स्वभाव से धीमा होगा। एक सूत्र ने कहा कि फर्क सिर्फ इतना है कि चेन्नई के विकेट में पहले की तुलना में अधिक घास है। कोविड-19 के कारण यहां कोई मैच नहीं हुआ और विकेट पर ताजा घास है। हालांकि पिच पर घास का मतलब यह नहीं है कि गेंद सीम होगी। पिच धीमा भी हो सकता है क्योंकि यहां लंबे समय से क्रिकेट मैच नहीं हुआ है।
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