










बीकानेरabhayindia.com पूर्व मंत्री देवीसिंह भाटी की ओर से दिया जा रहा धरना मंगलवार को ४१ वें दिन भी जारी रहा। धरना स्थल पर गीतासार व गो कथा का वाचन छैल बिहारी महाराज कर रहे है।
महंत देवनाथ महाराज बेलासर ने गोचर आन्दोलन को समर्थन देने धरना स्थल पर पहुंचे व भाटी को मंत्रोच्चारण कर आशीर्वाद दिया। पूजादेवी, नारायण सोनी दम्पति ने गोचर दीवार निर्माण के लिए 51 रुपए और चांदी की गाय की प्रतिमा भेंट की।
भाटी प्रवक्ता सुनील बांठिया ने बताया कि गोचर धाम में चल रही गो कथा में आज मुख्य यजमान का दायित्व पूजा देवी नारायण सांनी दम्पति ने निभाया कथा का पूजन पंडित शास्त्री रवि सारस्वत व संत मनु महाराज ने कराया।
आज कथा में सातवे दिन बालसंत बिहारी ने कहा कि जीवन को शुद्ध एवं संस्कारित करने वाली गौ माता सनातन जगत में एक पूजनीय व अमूल्य धरोहर है । गो माता व गोचर बचाने के लिए देवीसिंह भाटी के प्रयास इतिहास बन गए है। इस आन्दोलन से गो भक्तों का जुड़ाव भाटी एवं गाय के प्रति लोगों की लोकप्रियता दर्शाता है।
भाटी ने कहा कि बीकानेर में गोचर की दीवार बनाने का कार्य शुरू होने पर राजस्थान के कई जिलों में गो भक्तों ने प्रेरणा लेकर गोचर की दीवार का निर्माण का कार्य शुरू किया।
भाटी ने कहा कि ऐसे लोगों से प्रेरणा लेकर राजस्थान के अन्य जिलों में भी गो भक्त इसके लिए सक्रिय हुए हैं। भाटी ने कहा कि हमारे शास्त्र कहते है कि गोचर में कब्जे करने वालों की 21 पीढयि़ों को इसका श्राप लगता है।
वहीं पूर्व मंत्री देवी सिंह भाटी ने मुख्यमंत्री अशोक गहलोत को पत्र भेजकर पूर्व में भेजे गये पत्रों का हवाला देते हुए गोचर के संबंध में अपना निर्णय वापिस नहीं लेने पर रोष जताया।
भाटी ने कहा कि सरकार की ओर से वर्तमान में न्यायालय के निर्णय के बावजूद इस संबंध में कोई निर्णय नहीं लिया है। उन्होंने कहा कि इसके विरोध स्वरूप एक गो भक्त विधान सभा सत्र के दौरान विधान सभा परिसर में देह त्याग करने की चेतावनी दी है।
इसकी जिम्मेवारी सरकार की होगी। जिले के बाहर से आए गोभक्तों का अंशुमान सिंह भाटी, देवकिशन चांड़क आदि अभिनंदन किया। इस दौरन मांगुसिंह भाटी गोविन्दसर ,माधोसिंह भाटी, करणीसिंह बिठनोक, जेठाराम नाई, संतोष कुमार जागिड़ हरिसिंह बडगुजर, पूर्व पार्षद ओम सोनी, समाजवादी नेता नारायण दास रंगा सहित लोग मौजूद रहे।





