अजमेर Abhayindia.com राजस्थान में प्रतियोगी परीक्षाओं के पेपर लीक के बढते मामलों को लेकर गहलोत सरकार कठघरे में है। भाजपा इस मामले में लगातार हमलावर है। हाल में हाईकोर्ट एलडीसी भर्ती परीक्षा रद्द होने के मामले में पूर्व शिक्षा मंत्री एवं वर्तमान विधायक वासुदेव देवनानी ने सरकार को आड़े हाथों लेते हुए कहा है कि हाईकोर्ट द्वारा यह बड़ी भर्ती परीक्षा रद्द करना कहीं न कहीं राज्य सरकार को नाकारापन का सर्टिफिकेट है। प्रदेश के लाखों विद्यार्थियों के भविष्य के साथ हो रहे खुलमखुल्ला खिलवाड़ को रोक सकने में नाकाम नाकारा सरकार को एक मिनट भी सत्ता में रहने का अधिकार नहीं है।
विधायक देवनानी ने कहा कि कांग्रेस सरकार प्रश्न-पत्र लीक मामलों में नया कीर्तिमान स्थापित करती जा रही है। बीते 1 वर्ष में प्रदेश में एसआई, रीट, जेईएन, पुस्तकालय अध्यक्ष ग्रेड-3 और कनिष्क न्यायायिक सहायक, कनिष्क सहायक एवं क्लर्क इत्यादि आधा दर्जन प्रतियोगी परीक्षाओं का आयोजन हुआ। हर एक परीक्षा का पेपर आउट होने के समाचार सामने है। प्रश्न-पत्र लीक होने के चलते उच्च न्यायालय को क्लर्क भर्ती परीक्षा को रद्द करना पडा। उन्होंने कहा कि जो कार्य राज्य सरकार को करना चाहिए था वह उच्च न्यायालय को करना पडा। साल भर में आयोजित परीक्षाओं में साफ तौर पर प्रश्न-पत्र लीक के प्रमाण मिल चुके है, फिर भी राज्य सरकार अब तक पेपरों को लीक घोषित करने से बच रही है।
देवनानी ने कहा कि गहलोत सरकार और उसमें बैठी बडी ‘मुर्गियों’ की मिलीभगत के चलते पेपर लीक प्रकरण से जुडे गिरोह के हौंसले बुलंद है। लीक प्रकरण के अहम दोषी आज भी पुलिस की गिरफ्त से बाहर है। रीट परीक्षा प्रश्न पत्र लीक प्रकरण के अहम दोषी माध्यमिक शिक्षा बोर्ड के पूर्व अध्यक्ष जारौली आज भी फरार चल रहे हैं। दोषी लोगों का पकड से बाहर रहना कोई दुर्घटनावश नहीं बल्कि योजनाबद्ध तरीके से प्रदेश में इस काम को अंजाम दिया जा रहा है।