Sunday, May 12, 2024
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मिलावट को रोकने के लिए 4 मोबाइल फूड सेफ्टी वैन को मंत्री ने दिखाई हरी झण्डी

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जयपुर Abhayindia.com चिकित्सा एवं स्वास्थ्य मंत्री डॉ. रघु शर्मा ने राजकीय आवास से 4 मोबाइल फूड सेफ्टी लैब वैन को हरी झण्डी दिखाकर रवाना किया। ये वैन जोधपुर, अजमेर, कोटा और जयपुर संभाग में भेजी गई हैं। डॉ. शर्मा ने बताया कि वर्तमान में राज्य में खाद्य सुरक्षा एवं मानक प्राधिकारण, नई दिल्ली द्वारा 5 खाद्य चल प्रयोगशाला वर्ष 2019-2020 में उपलब्ध करवाई गयी थी जो उदयपुर, जोधपुर, जयपुर, भरतपुर एवं बीकानेर संभाग को आवंटित की गई थी। वर्ष 2020-2021 में 4 अतिरिक्त खाद्य चल प्रयोगशालाओं को अजमेर एवं कोटा में पहले से उपलब्ध नहीं होने के कारण उपलब्ध करवाई जा रही है। उन्होंने बताया कि जोधपुर एवं जयपुर में कार्य की अधिकता को ध्यान में रखते हुए 1-1 अतिरिक्त उपलब्ध करवायी जा रही हैं।

चिकित्सा मंत्री ने बताया कि संभाग स्तर पर चल प्रयोगशालायें मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी द्वारा मांग किये जाने पर उपलब्ध करवायी जायेगी। उन्होंने बताया कि एक खाद्य चल प्रयोगशाला की अनुमानित लागत 41 लाख है। उन्होंने बताया कि वर्तमान में चल प्रयोगशालाओं के लिए वाहन चालक एवं लैब टेक्निशियन की व्यवस्था संबंधित संयुक्त निदेशक जोन द्वारा की जावेगी। उन्होंने बताया कि चल प्रयोगशालाओं का मुख्य उद्देश्य सर्विलेन्स के आधार पर मौके पर ही खाद्य पदार्थों के नमूनों की जांच कर उपभोक्ता या विक्रेता को खाद्य पदार्थ के सुरक्षित या असुरक्षित होने की जानकारी देना है।

जन स्वास्थ्य निदेशक डॉ. के.के. शर्मा ने बताया कि चल प्रयोगशाला में मुख्य उपकरण मिल्को एनालाईजर, डिजिटल रिफ्रेक्टोमीटर, डिजीटल मल्टीमीटर, ऑटो क्लेव, रेपिड पैथोजन डिटेक्शन किट, डायग्नोस्टिक रीडर, फ्राईंग ऑयल मॉनीटर आदि इन उपकरणों के माध्यम से दूध, घी, मावा, पनीर मसाले व अन्य खाद्य पदार्थों की स्पॉट एनालिसिस किया जा सकता है। उन्होंने बताया कि कोई भी उपभोक्ता, उत्पादक किसी भी तरह की मिलावट होने पर क्षेत्र के सीएमएचओ के जरिए न्यूनतम शुल्क पर जांच करवा सकता है। इन पदार्थों की जांच रिपोर्ट ऑन स्पाट 25 से 30 मिनट में उपलब्ध हो सकेगी। उन्होंने बताया कि जांचें सर्विलांस के अधीन होती हैं और उनके अनसेफ, मिसब्रांड और सब स्टैडर्ड होने पर एक्ट के अनुसार कार्यवाही की जा सकती है।

अतिरिक्त निदेशक डॉ. रवि प्रकाश शर्मा ने बताया कि प्रदेश में 11 स्थाई प्रयोगशालाएं पहले से ही संचालित हैं। 9 मोबाइल वैन के साथ कुल 20 प्रयोगशालाओं से खाद्य पदार्थों में मिलावट पर नियंत्रण किया जा सकेगा। इस अवसर पर विभाग के अन्य अधिकारीगण उपस्थित रहे।

पुष्करणा ब्राह्मण समाज का सामूहिक सावा 18 को

बीकानेर। बीकानेर में पुष्करणा ब्राह्मण समाज का सामूहिक सावा 18 फरवरी 2022 को होगा। दशहरा के दिन सावा तिथि के शोधन के बाद परम्परा अनुसार धनतेरस के दिन सावा के अवसर पर होने वाले यज्ञोपवित संस्कार और सामूहिक सावे के मांगलिक कार्यक्रमों की घोषणा की गई। रघुनाथसर कुआ क्षेत्र स्थित मानेश्वर महादेव मंदिर में समाज के पंडितो, ज्योतिषाचार्यों, गणितज्ञों और विद्वान पंडितों के मध्य हुए शास्त्रार्थ के बाद सावे के मांगलिक कार्यक्रम घोषित किए गए। इस अवसर पर हुए समारोह में पूर्व बीकानेर राज परिवार की ओर से प्रतिनिधि के रूप में विधायक सिद्धि कुमारी मौजूद रहीं। उन्होंने पुष्करणा सावा आयोजन के लिए परम्परा अनुसार सावा आयोजन की अनुमति का पत्र कीकाणी लालाणी व्यास पुष्करणा समाज सावा समिति के पदाधिकारियों को सौंपा। अध्यक्षता एस. एन. व्यास ने की। परम्परा अनुसार चौथाणी ओझा परिवार की ओर से पंडित सुशील ओझा ने सावा मांगलिक कार्यक्रमों की घोषणा की।

पुष्करणा सावा थापन से पहले मंगलवार शाम को लालाणी व्यास चौक से शोभायात्रा निकाली गई। बीकानेर राजपरिवार के बैण्ड ने मधुर स्वर लहरिया बिखेरी। शोभायात्रा कीकाणी व्यास चौक, मूंधड़ा चौक, दम्माणी चौक, पुगलिया गली होते मानेश्वर महादेव मंदिर पहुंची। सावा थापन के अवसर पर पंडित जुगल किशोर ओझा, पंडित अशोक कुमार ओझा, पंडित राजेन्द्र किराडू, विधायक सिद्धि कुमारी का सावा समिति की ओर से सम्मान किया गया। इस अवसर पर नारायण दास व्यास, मक्खन लाल व्यास, ब्रजेश्वर लाल व्यास, कानू लाल, बालकिशन, गोपाल व्यास, कृष्णा व्यास, रिखबदास बोड़ा, विजय आचार्य, जेठानंद व्यास, सुरेन्द्र व्यास, अरविन्द व्यास, आनन्द जोशी, बालकिशन, बल्लभ व्यास सहित समाज के गणमान्य लोग उपस्थित रहे। शास्त्रार्थ में पुजारी बाबा, राजेन्द्र किराडू, अशोक कुमार ओझा, सुशील किराडू, सुशील ओझा, विमल किराडू, मुरलीधर पुरोहित, सीन किराडू, महेश ओझा, नारायण किराडू, दुर्गादास किराडू, श्याम सुंदर बोड़ा आदि मौजूद रहे।

विवाह मांगलिक कार्यक्रम

हाथधान (व्यास कन्या) : 14 फरवरी

हाथधान (सर्वत्र कन्या) : 16 फरवरी

सर्वत्र मातृका स्थापना व गणेश परिक्रमा : 17 फरवरी

सामूहिक विवाह : 18 फरवरी (गोधूली वेला)

बरी व गुड्डी : 21 फरवरी

यज्ञोपवित संस्कार मांगलिक कार्यक्रम

यज्ञोपवित : गुरु बालक

हाथधान : 4 फरवरी

मातृका स्थापना व गणेश परिक्रमा : 5 फरवरी

यज्ञोपवित संस्कार : 6 फरवरी

यज्ञोपवित : व्यास बालक

हाथधान : 5 फरवरी

मातृका स्थापना व गणेश परिक्रमा : 6 फरवरी

यज्ञोपवित संस्कार : 7 फरवरी

यज्ञोपवित : सर्वत्र बालक

हाथधान : 8 फरवरी

मातृका स्थापना व गणेश परिक्रमा : 9 फरवरी

यज्ञोपवित संस्कार : 10 फरवरी

यज्ञोपवित : सर्वत्र बालक

हाथधान : 16 फरवरी

मातृका स्थापना व गणेश परिक्रमा : 17 फरवरी

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