








जयपुर/भीलवाड़ा Abhayindia.com कोरोना वायरस से लड़ाई में अहम किरदार निभाने वाले CMHO डॉ. मुश्ताक खान को कारण बताओ नोटिस थमा दिया गया है। जिला परिषद के मुख्य कार्यकारी अधिकारी गोपालराम बिरड़ा की ओर से जारी कारण बताओ नोटिस में 3 दिन में जवाब मांगा गया है। जवाब नहीं देने पर उनके खिलाफ अनुशासनात्मक कार्रवाई के लिए कहा गया। डॉ. खान को नोटिस दिये जाने से चिकित्सक भड़क गए हैं।
इंडियन मेडिकल कौंसिल ने इसे कोरोना वॉरियर को हतोत्साहित करने वाला कदम बताते हुए कड़ी नाराजगी जताई है। आईएएम और ऑल राजस्थान इन सर्विस डॉक्टर्स एसोसियेशन ने नोटिस देने वाले अधिकारी के खिलाफ मोर्चा खोल दिया है। आईएमए भीलवाड़ा चैप्टर के डॉ. दुष्यंत शर्मा ने कहा कि हम लोग जिला कलक्टर को ज्ञापन देंगे कि इस तरह कोरोना वॉरियर्स को डॉक्टर्स को हतोत्साहित नहीं किया जाए। इसी तरह ऑल राजस्थान इन सर्विस डॉक्टर्स एसोसियेशन के प्रदेशाध्यक्ष सीकर सीएमएचओ अजय चौधरी ने भी इस पर गहरी नाराजगी व्यक्त की है। इस बीच, खान को थमाई गई नोटिस की प्रति भी सोशल मीडिया में खूब वायरल हो रही है।
मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक, नोटिस मिलने के बाद परेशान डॉ. मुश्ताक खान ने कहा कि उन्होंने शहर में संक्रमण को रोकने के लिये तीन महीने पहले मेहनत की थी। रोटेशन से ग्रामीण क्षेत्रों से स्वास्थ्यकर्मी शहर में लगाए थे। अब उसी को लेकर उन्हें नोटिस दिया गया है।
आपको बता दें कि प्रदेश में जब कोरोना ने दस्तक दी तो भीलवाड़ा में सबसे पहले इसका वायरस तेजी से फैला था। यह संक्रमण शहर के एक निजी चिकित्सालय के डॉक्टर और नर्सिंगकर्मियों जरिये फैला था। इसके चलते भीलवाड़ा की तुलना चीन की वुहान सिटी से की जाने लगी थी। उसके बाद भीलवाड़ा जिला प्रशासन और सीएमएचओ टीम ने इसे रोकने के लिये दिन-रात मेहनत की।
भीलवाड़ा के तत्कालीन जिला कलक्टर राजेंद्र भट्ट और ऊर्जावान चिकित्सकों टीम की बदौलत उनका यह प्रयास देशभर में ‘भीलवाड़ा मॉडल’ बनकर उभरा था। इस मॉडल को राजस्थान समेत देशभर में सराहना मिली। सीएमएचओ डॉ. खान कोरोना संक्रमण को रोकने के लिये 2000 से अधिक स्वास्थ्यकर्मियों की अपनी टीम के साथ फील्ड में उतरे थे।





